किशनगंज जिला परिषद में एक बार फिर सियासी संकट गहराता नजर आ रहा है। इस बार परिषद के 13 सदस्यों ने जिला परिषद उपाध्यक्ष मोहम्मद अशरफुल के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया है। जिससे नया राजनीतिक संकट खड़ा हो गया है। सोमवार को सदस्यों ने इस संबंध में जिला पदाधिकारी विशाल राज और जिला परिषद अध्यक्ष रुकैया बेगम को आवेदन सौंपा।
सदस्यों ने उपाध्यक्ष पर योजनाओं में धांधली, पारदर्शिता की कमी और एकपक्षीय फैसले लेने का आरोप लगाया है। जिला परिषद की पूर्व अध्यक्ष नुदरत महजबीं ने कहा, "अशरफुल को निर्विरोध चुना गया था, लेकिन उन्होंने हमारी अपेक्षाओं को पूरी तरह निराश किया। उनकी कार्यशैली में पारदर्शिता नहीं है।अविश्वास प्रस्ताव का समर्थन करने वालों में नासिक नदीर, फैजान अहमद, निरंजन राय और नाजिम अहमद जैसे वरिष्ठ सदस्य भी शामिल हैं।
इनका कहना है कि उपाध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को सुचारु रूप से नहीं चलाया और एक पक्षीय निर्णय लिए, जिससे परिषद का कामकाज बाधित हुआ।इस मामले में जिला परिषद अध्यक्ष रुकैया बेगम ने कहा, "आवेदन प्राप्त हुआ है।
नियमानुसार सभी प्रक्रियाओं का पालन किया जाएगा। निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से कार्रवाई सुनिश्चि की जाएगी।यह जिला परिषद में पहली बार नहीं हुआ है। जनवरी 2024 में तत्कालीन अध्यक्ष नुदरत महजबीं के खिलाफ भी 11 सदस्यों ने अविश्वास प्रस्ताव लाया था। इस बार 18 में से 13 सदस्यों के समर्थन से प्रस्ताव को मजबूती मिली है।
विशेष बैठक में टिकी नजरें
प्रक्रिया के तहत जिला प्रशासन अब 7 दिनों के भीतर विशेष बैठक बुलाने का नोटिस जारी कर सकता है। सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि यह बैठक कब होगी और उसमें उपाध्यक्ष का भविष्य क्या तय होगा।