बिहार के बच्चों का कमाल! पायस मिशन के 4 प्रोजेक्ट राज्य स्तर के लिए चयनित, ‘अजोला फार्मिंग’ ने सबका ध्यान खींचा
अरवल। द्वितीय बिहार बाल विज्ञान शोध कार्यक्रम-2025 में पायस मिशन स्कूल के बच्चों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए विद्यालय का नाम पूरे क्षेत्र में रोशन कर दिया है। इस प्रतिष्ठित कार्यक्रम में पायस मिशन के कुल चार प्रोजेक्ट्स का चयन राज्य स्तरीय प्रतियोगिता के लिए किया गया है, जो स्कूल और जिले दोनों के लिए बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है।
यह रिजनल स्तर का कार्यक्रम गौतम बुद्ध महाविद्यालय, जहानाबाद में आयोजित किया गया था, जिसमें बिहार और केन्द्रीय क्षेत्र के 11 जिलों से आए छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। कुल 15 प्रोजेक्ट्स को चयनित किया गया, जिनमें से 4 प्रोजेक्ट पायस मिशन स्कूल के रहे।
सबसे अधिक चर्चा में रहा “अजोला फार्मिंग” प्रोजेक्ट, जिसे बच्चों ने बेहद वैज्ञानिक और व्यावहारिक तरीके से प्रस्तुत किया। इस प्रोजेक्ट में विद्यालय के विज्ञान शिक्षक प्रकाश महतो गाइड के रूप में शामिल रहे। वहीं ग्रुप लीडर की भूमिका अराधना रॉय ने निभाई, जबकि मधु रॉय, सौम्या राज, समीक्षा कुमारी, अनुपमा रंजन, रागिनी और शिवानी कुमारी सहायक सदस्यों के रूप में टीम का हिस्सा रहीं।
अजोला फार्मिंग प्रोजेक्ट के माध्यम से बच्चों ने बताया कि अजोला एक ऐसा शैवाल है, जो पानी की सतह पर तैरता है और हवा से नाइट्रोजन को अवशोषित कर प्रोटीन का निर्माण करता है। यह पर्यावरण के अनुकूल होने के साथ-साथ प्राकृतिक खाद का बेहतरीन विकल्प भी है। खास बात यह है कि किसान इसे बहुत कम जगह में उगा सकते हैं और इसका उपयोग मवेशियों के पोषण व ग्रोथ के लिए कर सकते हैं, जिससे खेती की लागत भी कम होती है।
विद्यालय की प्राचार्या ने बच्चों की उपलब्धि पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि विद्यार्थियों ने कड़ी मेहनत और लगन से यह प्रोजेक्ट तैयार किया। राज्य स्तर के लिए चयनित होना उनके परिश्रम का प्रमाण है। उन्होंने सभी छात्र-छात्राओं और शिक्षक को बधाई दी।
अब पायस मिशन के ये होनहार बच्चे राज्य स्तरीय प्रतियोगिता में अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे, जिससे बिहार के बाल वैज्ञानिकों की पहचान और भी मजबूत होगी।